23. मैं ने अपनी ही शपथ खाई, धर्म के अनुसार मेरे मुख से यह वचन निकला है और वह नहीं टलेगा, प्रत्येक घुटना मेरे सम्मुख झुकेगा और प्रत्येक के मुख से मेरी ही शपथ खाई जाएगी॥
24. लोग मेरे विषय में कहेंगे, केवल यहोवा ही में धर्म और शक्ति है। उसी के पास लोग आएंगे। और जो उस से रूठे रहेंगे, उन्हें लज्जित होना पड़ेगा।
25. इस्राएल के सारे वंश के लोग यहोवा ही के कारण धर्मी ठहरेंगे, और उसकी महिमा करेंगे॥